स्टूडेंट को लेकर पंजाब सरकार का एक और फैसला

पंजाब सरकार ने वीरवार को बाल दिवस के अवसर पर एक नई शैक्षिक पहल ‘आरंभ’ की शुरूआत की है, जिसका उद्देश्य माता-पिता की सहभागिता को सुनिश्चित करना और प्रारंभिक शिक्षा में क्रांति लाना है।

महात्मा गांधी स्टेट इंस्टीच्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन (मगसीपा) चंडीगढ़ में आयोजित राज्यस्तरीय कार्यक्रम के दौरान स्कूल शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने स्कूल ऑफ एमिनैंस फेज-11 मोहाली की 8वीं की छात्रा चरनप्रीत कौर, जो कि मुख्य अतिथि के तौर पर आमंत्रित थी, को संबोधित करते हुए इस पहल की शुरूआत की।

इस दौरान हरजोत सिंह बैंस ने कहा कि पंजाब के प्री-प्राइमरी सरकारी स्कूलों में इस समय 3.5 लाख से अधिक छात्रों के नामांकन के मद्देनजर प्रारंभिक शिक्षा का महत्व अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह बताते हुए कि मस्तिष्क का 85 प्रतिशत से अधिक विकास 6 साल की उम्र से पहले होता है, कैबिनेट मंत्री ने कहा कि ‘आरंभ’ पहल की शुरूआत हमारी बच्चों के विकास के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है।

उन्होंने कहा कि यह पहल बच्चों की प्रारंभिक शिक्षा में माता-पिता की निरंतर सहभागिता को सुनिश्चित करेगी जिससे विशेषकर निम्न आय वाले 3.8 लाख परिवारों को लाभ मिलेगा। कैबिनेट मंत्री ने बताया कि यह पहल पंजाब विकास आयोग और रॉकट लर्निंग एन.जी.ओ. के सहयोग से प्रारंभिक रूप से 8 जिलों लुधियाना, मोहाली, पटियाला, रूपनगर, श्री मुक्तसर साहिब, तरनतारन, संगरूर और अमृतसर में शुरू की जाएगी। इस कार्यक्रम की विशेष बात यह रही कि फिनलैंड में प्रशिक्षित 4 प्राथमिक स्कूलों के शिक्षकों ने मनोरंजन-आधारित और समग्र विकास दृष्टिकोण को लागू करने की अपनी विशेषज्ञता साझा की।

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