मुख्यमंत्री का ‘मिशन रोज़गार’ जारी, अब तक युवाओं को 55,000 से अधिक सरकारी नौकरियां दी गई

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार ने ‘मिशन रोजगार’ को जारी रखते हुए अपने 36 महीने के कार्यकाल के दौरान युवाओं को 55,000 से अधिक सरकारी नौकरियां देकर एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है।

आज यहां 700 से अधिक शिक्षकों को नियुक्ति पत्र सौंपने के अवसर पर आयोजित समारोह को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने इस ऐतिहासिक मौके पर नव-नियुक्त शिक्षकों को बधाई दी और आशा व्यक्त की कि वे अपनी ड्यूटी पूरी मेहनत से निभाएंगे। उन्होंने कहा कि यह नौकरी शिक्षकों की कड़ी मेहनत और समर्पण का फल है, क्योंकि उनकी सरकार युवाओं को पारदर्शी तरीके से नौकरियां दे रही है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य में शिक्षा क्रांति का युग शुरू हो चुका है, क्योंकि स्कूलों के बुनियादी ढांचे का कायाकल्प किया जा रहा है।

इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने पर सबसे अधिक जोर दिया जा रहा है, जिसके लिए कई पहल की गई हैं। उन्होंने दोहराया कि राज्य सरकार विभाग में खाली पड़े सभी पदों को भरेगी। भगवंत सिंह मान ने कहा कि पूरी भर्ती प्रक्रिया के लिए उचित विधि अपनाई गई है, जिसके कारण अब तक 55,000 से अधिक नौकरियाँ दी गईं, लेकिन एक भी नौकरी को अदालती चुनौती का सामना नहीं करना पड़ा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह बहुत गर्व की बात है कि पंजाब सरकार ने सभी युवाओं को पूरी तरह से योग्यता के आधार पर नौकरियां दी हैं। भगवंत सिंह मान ने कहा कि पारदर्शी भर्ती से सरकार के प्रति युवाओं का भरोसा बढ़ा है, जिसके कारण अब वे विदेश जाने का विचार त्याग कर सरकारी नौकरी की तैयारी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह रिकॉर्ड पर है कि विदेश जाने के पुराने रुझान के उलट राज्य के शैक्षणिक संस्थानों में युवाओं के दाखिलों में भारी वृद्धि हो रही है।

मुख्यमंत्री ने दुख व्यक्त किया कि पिछली सरकारों ने अपने लंबे शासनकाल के दौरान राज्य के युवाओं को नौकरियों से वंचित कर दिया था। हालांकि, उन्होंने कहा कि जिन्होंने युवाओं को नौकरियां देने से इनकार किया था, उन्हें राज्य के लोगों ने बाहर का रास्ता दिखा दिया। भगवंत सिंह मान ने व्यंग्य करते हुए कहा कि यह बहुत संयोग की बात है कि अब युवाओं को नौकरियां मिल रही हैं, लेकिन जिन्होंने इनका भविष्य बर्बाद कर दिया, वे अब बेरोज़गार हैं और सत्ता से बाहर बैठे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले शासकों ने पंजाबियों की मानसिकता को ठेस पहुंचाई और राज्य में माफिया को संरक्षण देने के साथ-साथ खजाने की अंधाधुंध लूट की। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पिछली सरकारों के कचरे को साफ कर रही है और अब ‘रंगला पंजाब’ बनाने पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है, जिसके लिए कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी जा रही। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य के सभी क्षेत्रों में पूरी तरह सुधार किया जा रहा है ताकि पंजाब के विकास को बड़ा प्रोत्साहन दिया जा सके।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार शिक्षकों को विदेशों और यहां तक कि प्रतिष्ठित राष्ट्रीय संस्थानों में प्रशिक्षण के लिए भेज रही है ताकि उनके शिक्षण कौशल को निखारा जा सके। उन्होंने कहा कि प्रशिक्षित स्टाफ ने राज्य के सरकारी स्कूलों में दाखिले की दर बढ़ाने में मदद की है। उन्होंने कहा कि पंजाब ‘शिक्षा क्रांति’ का अग्रणी बन रहा है क्योंकि राज्य सरकार ने इस पर अधिक जोर दिया हुआ है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि अब शिक्षक और प्रिंसिपल केवल शिक्षा पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं क्योंकि बाकी सभी कार्यों के लिए राज्य सरकार द्वारा आवश्यक स्टाफ की भर्ती की गई है।

छात्रों को नशे की समस्या के बारे में जागरूक करने के लिए शिक्षकों को ‘युद्ध नशे के विरुद्ध’ में मुख्य भूमिका निभाने का आह्वान देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि शिक्षक राष्ट्र निर्माता हैं और उन्हें युवाओं को नशे के खिलाफ लड़ने के लिए अपनी असीम ऊर्जा लगाने के लिए प्रेरित करना चाहिए। उन्होंने कहा कि हमारी पीढ़ियों को नशे की लानत से बचाना बहुत जरूरी है क्योंकि पंजाब पहले ही इस अभिशाप के कारण बड़ा नुकसान झेल चुका है। भगवंत सिंह मान ने कहा कि राज्य सरकार पहले ही नशे की आपूर्ति श्रृंखला को तोड़ चुकी है और इस घृणित अपराध में शामिल बड़े मगरमच्छों को सलाखों के पीछे डाल दिया गया है, साथ ही नशा तस्करों की संपत्ति को नष्ट/जब्त किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि पंजाब सरकार राज्य भर के सरकारी स्कूलों में माता-पिता-शिक्षक बैठकें (पी.टी.एम.) आयोजित कर रही है। उन्होंने कहा कि राज्य के लाखों माता-पिता अपने बच्चों को दी जा रही पढ़ाई, माहौल, पाठ्यक्रम और अन्य बातों के बारे में पूछताछ कर रहे हैं। भगवंत सिंह मान ने कहा कि यह प्रयास शिक्षकों को स्कूलों में छात्रों के प्रदर्शन के बारे में बताने का अवसर भी प्रदान करेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने भ्रष्टाचार के प्रति कोई ढील न बरतने की नीति अपनाई है और किसी भी भ्रष्ट अधिकारी को बर्दाश्त नहीं किया जा रहा। भगवंत सिंह मान ने कहा कि हर भ्रष्ट अधिकारी पर नकेल कसी जाएगी और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार लोगों को उनके दरवाजे पर नागरिक-केंद्रित सेवाएं प्रदान करके पारदर्शिता, कुशलता और जवाबदेही लाने के लिए काम कर रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि नव-नियुक्त युवा सरकार का अभिन्न अंग बन गए हैं और उन्हें अब मिशनरी भावना के साथ लोगों की सेवा करनी चाहिए। भगवंत मान ने उम्मीद जताई कि नव-नियुक्त युवा अपनी कलम का उपयोग समाज के जरूरतमंद और पिछड़े वर्गों की मदद के लिए करेंगे। उन्होंने कहा कि इन युवाओं को जनता की अधिकतम भलाई सुनिश्चित करनी चाहिए ताकि समाज के हर वर्ग को इसका लाभ मिल सके।

इससे पहले शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने मुख्यमंत्री और अन्य शख्सियतों का स्वागत किया।

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