जहरीली हवा में सांस लेने को मजबूर दिल्लीवासी

राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण फिर से लोगों के लिए चिंता का विषय बन गया है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के ताज़ा आंकड़ों के अनुसार, कई इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक बेहद खराब स्तर पर पहुंच चुका है।

दिल्ली के आईटीओ क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सूचकांक 275 दर्ज किया गया, जो खराब श्रेणी में आता है। अक्षरधाम और उसके आसपास के क्षेत्रों में वायु गुणवत्ता का स्तर 272 तक पहुंच गया है। (एम्स) के क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सूचकांक 291 रहा, जो खराब श्रेणी के ऊपरी स्तर की ओर इशारा करता है।

लोधी रोड क्षेत्र में स्थिति कुछ बेहतर रही, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक 184 दर्ज किया गया, जो ‘मध्यम’ श्रेणी में माना जाता है। यहां प्रदूषण को कम करने के लिए पानी का छिड़काव करने वाली विशेष गाड़ियां तैनात की गई हैं। इसी तरह इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा (टी–3) क्षेत्र में सूचकांक 188 रहा, जो मध्यम श्रेणी में शामिल है।

पूर्वी दिल्ली के आनंद विहार क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सबसे चिंताजनक पाई गई, जहां सूचकांक 298 तक पहुंच गया। बवाना में वायु गुणवत्ता सूचकांक 301 दर्ज किया गया, जो बेहद खराब श्रेणी की शुरुआत को दर्शाता है। चांदनी चौक में यह स्तर 299 रहा और आर.के. पुरम में 298 तक पहुंच गया। बुराड़ी क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सूचकांक 264 मापा गया।

सीपीसीबी के अनुसार, शुक्रवार को हवा उत्तर-पूर्व दिशा से 5 किलोमीटर प्रतिघंटे के गति से चली। वहीं, अनुमानित अधिकतम मिश्रण गहराई 2000 मीटर रही। इसके अलावा वेंटिलेशन इंडेक्स 7000 मीटर प्रति वर्ग सेकंड रहा। दूसरी ओर, दोपहर तीन बजे हवा में पीएम10 की मात्रा 157 और पीएम 2.5 94.3 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज की गई।

सीपीसीबी के अनुसार, निगरानी केंद्रों में से केवल वजीरपुर में 312 एक्यूआई के साथ बेहद खराब श्रेणी में हवा दर्ज की गई। वहीं, 25 निगरानी केंद्रों में हवा खराब और 11 में मध्यम श्रेणी में हवा दर्ज की गई।

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